29 दिन बाद भी पुलिस ने लड़की को बरामद करने में नहीं दिखाई दिलचस्पी
जनसागर टुडे संवाददाता
गाजियाबाद। महिला उत्पीड़न के मामले में बड़ी-बड़ी डींगे हांकने वाली गाजियाबाद पुलिस के चेहरे से एक बार फिर नकाब उतर गया। धर्म छुपाकर धोखे से शादी करने के मामले में विजयनगर पुलिस की संवेदनहीनता के कारण एक युवती को आरोपी सहित आधा दर्जन युवक मुकदमा दर्ज होने के ढाई महीने बाद घर से उठाकर ले गए और पुलिस हाथ पर हाथ धरे बैठी रही। मामले में क्षेत्राधिकारी प्रथम ने भी उदासीनता दिखाई। युवती को अगवा किए आज 29 दिन हो गए लेकिन पुलिस 29 कदम आगे नहीं बढ़ पाई। पुलिस की इस लापरवाही का खामियाजा पीड़ित परिवार को भुगतना पड़ रहा है। बता दें कि लव जिहाद का बीजारोपण 2020 के अगस्त में हुआ।
थाना विजयनगर क्षेत्र की एक कॉलोनी में रहने वाली युवती के पड़ोस में युवक का आना जाना था। उसी दौरान युवक जिसने खुद को टोनी कुमार हिन्दू बताकर युवती से जान पहचान बनाई। धीरे-धीरे युवक ने दोस्ती का हाथ बढ़ाया और शादी की बात की। बतौर पीड़िता का कहना था टोनी ने खुद को हिंदू बताया और शादी का प्रस्ताव रखा लेकिन उसने ठुकरा दिया। मगर एक रोज युवक अपने मकसद में कामयाब हो गया। जब उसने युवती को किसी बहाने से बाहर बुलाया और रेस्टोरेंट में बैठ कर बात करने की बात की।युवक ने उसे गाड़ी में बिठाया और कोल्ड ड्रिंक में पहले से मिला कर रखा नशीला पदार्थ पिला दिया उसके बाद उसे कुछ नहीं पता। बाद में होश आने पर टोनी ने उसे विजयनगर छोड़ दिया।
पीड़िता की दी तहरीर से खुलासा हुआ कि 9 फरवरी को एक पुलिसकर्मी घर आया और कुछ कागजात देकर दिल्ली कोर्ट में हाजिर होने की बात कही। युवती के पिता ने बताया कि नोटिस में बेटी से टोनी उर्फ फईम अली के साथ आर्य समाज आश्रम में शादी के कागजात थे तथा कहा गया कि उसकी पत्नी को घर वालों ने बंधक बनाकर रखा है। युवती ने तुरंत एसएसपी के यहां शिकायत दी जिसमें धोखे से धर्म छुपाकर शादी करने के मामले में फईम अली उर्फ टोनी के खिलाफ कार्रवाई की मांग की तथा दिल्ली कोर्ट में पेश हुए। जहां कोर्ट ने मामले को निरस्त करते हुए लड़की को परिजनों को सौंप दिया।