करीब छह माह के लंबे इंतजार के बाद यूपी के कई हिस्सों में स्कूल-कॉलेजों और मदरसों में रौनक लौटी है. इसके लिए उत्तर प्रदेश सरकार ने क्लास 9 से 12वीं तक के लिए सोमवार 19 अक्टूबर से स्कूल खोलने की इजाजत दी थी. इसके अनुसार सिर्फ कंटेनमेंट जोन से बाहर के स्कूल आज से खोले जाने थे. बता दें कि केंद्र सरकार की गाइडलाइन के अनुसार सिर्फ पेरेंट्स की लिखित अनुमति के बाद ही स्कूलों में बच्चे जा सकते हैं.|
केंद्र सरकार ने 15 अक्टूबर से स्कूल खोलने के लिए गाइडलाइन जारी कर दी थी. फोटो में देखिए लखनऊ में मदरसों में आज से पढ़ाई शुरू हो गई जिसके बाद सरकार की गाइडलाइन के चलते सोशल डिस्टनसिंग, हैंड सिनेटाइज़र सहित मास्क पहनकर मदरसे में स्टूडेंट पहुंचे.|
लखनऊ के फ़िरंगीं महली ईदगाह में स्थित मदरसा में आज सोशल डिस्टेंसिंग के साथ बच्चे पहुंचे. इस दौरान सभी के हैंड सिनेटाइज़ करवाए गए और सभी को मास्क पहनकर मदरसा आने की इजाजत थी. मुस्लिम धर्मगुरु खालिद रसीद फ़िरंगीं महली ने बताया कि आज बच्चे पहुंचे हालांकि पहला दिन है इसलिए कम बच्चे पहुंचे है. सरकार की गाइडलाइन के चलते सभी को मास्क के साथ पढ़ाई कराने को कहा गया है. यहां कक्षाओं में हैंड सिनेटाइज़र लाने को कहा गया था.
स्कूल के लिए ये नियम
फर्नीचर, स्टेशनरी, कैंटीन, लैब के साथ ही पूरा परिसर और क्लास रूम का रोज सैनिटाइजेशन होगा. एक क्लास में एक दिन 50 फीसदी ही बच्चे ही बैठेंगे. दूसरे दिन बाकी के बच्चों की पढ़ाई होगी. दो स्टूडेंट्स के बीच 6 फीट की दूरी अनिवार्य होगी. उत्तर प्रदेश के उप मुख्यमंत्री दिनेश शर्मा ने पहले ही स्पष्ट कर दिया था कि कक्षाएं शिफ्टों में आयोजित की जाएंगी. स्कूलों में सभी आवश्यक प्रोटोकॉल, जिनमें सोशल डिस्टेंसिंग और स्कूलों की ओर से उनके परिसर का प्रॉपर सैनिटाइजेशन शामिल है. छात्रों को केवल अपने माता-पिता या अभिभावकों से लिखित अनुमति लेने के बाद कक्षाओं में भाग लेने की अनुमति दी जाएगी.
इन्हीं नियमों के चलते स्कूलों में डेस्क छह फिट की दूरी पर लगाई गईं थीं. यहां छात्रों को आपस में खाना, पेन, किताब या कोई भी चीज साझा करने की इजाजत नहीं दी गई थी. नौवीं से 12वीं तक स्कूलों के अलावा कई जिलों में आज कॉलेजों में भी छात्र पहुंचे.|
स्कूलों को दिए दिशानिर्देश में साफ साफ कहा गया है कि कंटेनमेंट जोन में रहने वाले बच्चों, टीचर या स्टॉफ को स्कूल आने की अनुमति नहीं होगी. अगर किसी बच्चे, टीचर या फिर किसी कर्मचारी को बुखार, सर्दी-खांसी हो तो उसे प्राथमिक उपचार के बाद घर भेज दिया जाएगा. स्कूल आने और जाने के समय सभी गेट को खोले जाएंगे, ताकि एक साथ भीड़ जमा ना हो. सभी स्टूडेंट, टीचर और स्टॉफ के लिए मास्क पहनना अनिवार्य होगा.|
जारी रहेंगी ऑनलाइन क्लासेस
केंद्रीय गृह मंत्रालय ने अनलॉक 4 के साथ ही ये आदेश जारी किया था कि किसी भी अभिभावक को बच्चों को स्कूल भेजने के लिए मजबूर नहीं किया जाएगा. स्कूलों को ऑनलाइन कक्षाएं न सिर्फ जारी रखने बल्कि उनको बढ़ावा देने के लिए भी कहा गया था ताकि बच्चों को किसी मजबूरी में स्कूल आने का दबाव न पड़े.