जनसागर टुडे
आजमगढ़ / सूरज सिंह – आजमगढ़ में गलन भरी ठंड के साथ हल्की कोहरे है । नव वर्ष 2025 में लगातार सातवें दिन भी कड़ाके की ठंड ने आम जनजीवन को अस्त व्यस्त कर दिया है। इसके साथ ही सड़कों पर कोहरे की छड़ों से विजिबिलिटी कम हो गई है । सड़कों पर चलने वाले लोग धीमी गति व सावधानी के साथ चल रहे हैं। जहां एक ओर खेत खलियान और सड़कों को कोहरे की छड़ों ने ढक लिया है वहीं दूसरी ओर कड़ाके की ठंड से गलन और ठिठुरन बढ़ा दिए है । जिस कारण लोग अपने घरों पर ठंड से बचाव के लिए अलाव का सहारा ले रहे हैं तथा ठिठुरन भरी सर्दी में पालतू पशुओं के लिए भी ठंड से बचाव के लिए विशेष व्यवस्था की जा रही है।
बाजारों में रहा सन्नाटा बढ़ती ठंड की वजह से बजार में कम ही लोग सामान्य दिनों में बजार गुलजार रहता है, लेकिन सर्द हवाओं की वजह से अधिकांश लोग घरों में ही रहना मुनासिब समझे। ओलंदगंज, चहारसू चौराहा व कोतवाली चौराहे पर अन्य दिनों की अपेक्षा सन्नाटा रहा।
फसलों में रोग लगने का खतरा बदले मौसम में न्यूनतम तापमान में लगातार गिरावट हो रही है व कोहरा भी बढ़ रहा है। इससे फसलों में पाला लगने की संभावना है। पाले का असर राई सरसों, अरहर, आलू, मिर्च, टमाटर तथा मटर की फसल फसल को काफी नुकसान पहुंचता है।पाला के असर से आलू में झुलसा बीमारी लगने को संभावना बढ़ जाती है। इससे आलू की फसल को 40 से 80 प्रतिशत तक नुकसान हो जाता है। घना कोहरा बने रहने से धूप अरहर की फसल को नहीं मिल पाती है, जिससे अरहर का सारा का सारा फूल झड़ जाता है।