जनसागर टुडे
नई दिल्ली। विधान सभा चुनाव में भाग्य आजमाने उतरे प्रत्याशियों के लिए सोमवार का दिन बेहद महत्वपूर्ण है। उनके लिए चुनावी परीक्षा का पहला चरण आ गया है। इसके तहत नामांकन पत्रों की जांच होनी है। पर्चों की जांचोपरांत प्रत्याशियों की असल संख्या स्पष्ट हो पाएगी। जिस प्रत्याशी का पर्चा जांच में निरस्त होगा, वह चुनाव मैदान से बाहर कर दिया जाएगा।
………5 आरओ करेंगे प्रपत्रों की जांच………
ऐसे में सभी उम्मीदवारों की बेचैनी बढ़ी हुई है। जनपद गाजियाबाद में भी सोमवार को नामांकन पत्रों की जांच होनी हैं। इससे संबंधित तैयारियां पूरी कर ली गई हैं। गाजियाबाद जिले में विधान सभा की 5 सीटें हैं। जिनके लिए 73 प्रत्याशियों ने नामांकन किया है। लोनी, साहिबाबाद, गाजियाबाद शहर, मुरादनगर एवं मोदीनगर सीट पर 10 फरवरी को मतदान होना है। प्रत्येक विधान सभा क्षेत्र के लिए रिटर्निंग ऑफिसर (आरओ) की तैनाती की गई है।
………नामांकन पत्रों में अहम जानकारी………
सभी रिटर्निंग ऑफिसर सोमवार को अपने-अपने विधान सभा क्षेत्र से संबंधित पर्चों की जांच करेंगे। डीएम राकेश कुमार सिंह ने इस संदर्भ में पांचों आरओ को दिशा-निर्देश दे दिए हैं। सुबह 11 से दोपहर 3 बजे तक पर्चों की जांच का काम चलेगा। नामांकन पत्रों में प्रत्याशियों ने व्यक्तिगत जानकारियां दी हैं। इनमें शैक्षिक योग्यता, वार्षिक आय, चल-अचल संपत्ति, जेवरात, वाहन, लाइसेंसी हथियार, कर्जा, अपराधिक मामले इत्यादि ब्यौरा शामिल हैं।
………पर्चा खारिज होने पर मैदान से बाहर………
जांच में जो नामांकन सही मिलेगा, उसे क्लीन चिट मिल जाएगी। यानी संबंधित प्रत्याशी को चुनाव लड़ने का अधिकार होगा। इसके इतर विवेचना में जिस पर्चे में खामियां मिलेंगी, उसे निरस्त करने का अधिकार आरओ के पास रहेगा। तदुपरांत संबंधित उम्मीदवार चुनाव नहीं लड़ पाएगा। नामांकन पत्रों की जांच से पहले रविवार को प्रत्याशियों की बेचैनी बढ़ी रही।
………पिछले चुनाव में मच गया था हंगामा………
खासकर विपक्षी दल और निर्दलीय उम्मीदवार असमंजस की स्थिति में दिखाई दिए। नाम वापसी की अंतिम तिथि 27 जनवरी है। उसी दिन दोपहर बाद प्रत्याशियों को चुनाव चिन्ह का आवंटन कर दिया जाएगा। बता दें कि 2017 के विधान सभा चुनाव के दौरान साहिबाबाद सीट से एक उम्मीदवार का पर्चा खारिज किए जाने पर जमकर हंगामा मचा था। उस समय सियासत भी खूब गरमा गई थी।