जनसागर टुडे
गाजियाबाद- जनसेवा के माध्यम से राजनीति के क्षेत्र में लोगों तो तरक्की करते हुए तो देखा है लेकिन गाजियाबाद के एक निगम पार्षद ऐसे भी हैं जिनका सफर नशे के कारोबार से शुरू हुआ जो सत्ता पक्ष से निगम पार्षद तक पहुंच चुका है ! मूल रूप से बिहार के रहने वाले पिंटू सिंह और पिंटू बिहारी को गाजियाबाद की पुलिस एवं नशे का कारोबार करने वाला शायद ही कोई ऐसा व्यक्ति हो जो ना जानता होगा ! समाजवादी पार्टी के कार्यकाल में इंदिरापुरम, वसुंधरा की झुग्गियों ,झंडापुर एवं कई जगहों पर गाजियाबाद के वार्ड 35 के निगम पार्षद पिंटू सिंह का अवैध कारोबार धड़ल्ले के साथ चलता रहा ! यदि लोगों की माने तो समाजवादी पार्टी की सरकार के कार्यकाल में पिंटू सिंह अखिलेश यादव को अपना बेहद करीबी बताते रहे जिसके कारण स्थानीय पुलिस उन पर हाथ डालने से भी कतरा रही थी ! नेपाल और बिहार से नशे की सामग्री को लाकर दिल्ली एनसीआर के कई जगहों पर उन्हें सप्लाई करने का काम स्वयं पिंटू सिंह द्वारा कराया जाता रहा ! कुछ समय बाद सत्ता परिवर्तन हुआ जिसमें पिंटू सिंह को नशे का व्यापार करने में कठिनाई महसूस हुई ! इन कठिनाइयों को दूर करने के लिए पिंटू सिंह ने सत्ता पक्ष के लोगों को अपने साथ मिलाया और समाजवादी पार्टी से भाजपा के हो गए ! पैसों के दम पर वार्ड 35 से निगम पार्षद का चुनाव लड़कर पिंटू सिंह ने जीत भी हासिल की लेकिन अपने नशे के कारोबार को नहीं बदला ! लोगों की माने तो पिंटू सिंह कभी खुद को पूर्वांचल समाज का संयोजक बताते हैं तो कभी गाजियाबाद से विधायक का चुनाव लड़ने की दावेदारी करते हैं !निगम पार्षद के रूप में पिंटू सिंह द्वारा सरकार द्वारा दी गई योजनाएं दिलाने के एवज में अच्छी खासी मोटी रकम ऐंठने का काम किया गया जिसके कारण लोगों द्वारा विजयनगर थाने में कई बार शिकायत की गई ! कई बार तो पूर्वांचल समाज के लोगों द्वारा भी पिंटू सिंह को काफी कुछ कहा गया जिसके बाद पिंटू सिंह को हाथ जोड़कर वहां से भागना पड़ा ! जब नशे के कारोबार ही करने लगे विधायक पद की दावेदारी तो भला जनता उन्हें वोट देने में क्यों निभाएगी अपनी हिस्सेदारी !