विनेश फोगाट से सीखे युवा
गाजियाबाद :. विषम परिस्थियों में अपनी लगन व मेहनत से विश्व रैंकिंग में नंबर एक स्थान पर आने पर समाजसेवी मोहित नागर ने पहलवान विनेश फोगाट को फोन कर बधाई दी। उन्होंने कहाँ यह गर्व की बात है। नौ साल की उम्र में पिता को खो देने वाली होनहार प्रतिभा विनेश ने यह साबित कर दिया है कि लगन व कठिन परिश्रम से सफलता विभिन्न परिस्थिति में भी पाई जा सकती है। 2016 के रियो ओलंपिक में विनेश चोटिल होने के कारण पदक नही जीत सकी। लेकिन विनेश ने अपना मनोबल नही गिरने दिया विनेश ने विश्व की अनेकों प्रतियोगिताओं का खिताब अपने नाम किया है। अब यह गर्व की बात है वह लगातार दूसरा ओलंपिक खेलेगी। विनेश से हुई बात से यह स्पष्ट है कि इस बार वह देश के लिए ओलंपिक में पदक अवश्य लायेंगी। हमें विनेश जैसी प्रतिभा पर गर्व है। सभी युवाओं को विनेश से सीखना चाहिए। कि किस तरह विषम परिस्थिति में सफलता हासिल की जाती है।