डेबिट/क्रेडिट, कार्ड से पेमेंट करने वालों के साथ बढ़ती धोखाधड़ी रेगुलेटर्स के लिए चिंता का विषय बना हुआ है। इसी बीच इन कार्ड्स से पेमेंट में धोखाधड़ी को रोकने लिए कुछ बदलाव किए गए हैं, जिनसे इस समस्या पर कुछ हद लगाम लग सकती है। आइए जानते हैं ये बदलाव क्या हैं और इसस कार्ड यूजर किस हद तक धोखाधड़ी से बच सकेंगे।
सुरक्षा को लेकर नियमों में जो बदलाव किए गए हैं वे सभी कार्डों पर लागू होंगे, चाहे वे नए हों या पुराने।
- जब कार्ड जारी किए जाएंगे तो आप भारत में पॉइंट ऑफ सेल और एटीएम पर ही इनका इस्तेमाल कर पाएंगे।
- ऑनलाइन, अंतरराष्ट्रीय और कॉन्टेक्टलेस ट्रांजेक्शन के लिए आपको परमिशन देनी होगी।
- इन सुविधाओं को मोबाइल फोन, इंटरनेट बैंकिंग, एटीएम या बैंक शाखाओं के जरिये शुरू कराया जा सकता है।
- अगर आपने अपने पास मौजूद कार्ड का ऑनलाइन, कॉन्टेक्टलेस या इंटरनेशनल ट्रांजेक्शन में इस्तेमाल नहीं किया है तो ऐसे ट्रांजेक्शन की सुविधा बंद कर दी जाएगी।
- बाकी कार्डों के मामले में अधिकार बैंकों को दे दिया गया है कि वे देखेंगे कि कार्ड में जोखिम की कितनी आशंका है और उसके हिसाब से ये सुविधाएं चालू रखने या बंद करने का फैसला खुद ही कर लेंगे।
- जिन कार्डधारकों को ऑनलाइन, संपर्करहित या अंतरराष्ट्रीय लेनदेन की जरूरत पड़ेगी वे मोबाइल ऐप, इंटरनेट बैंक का इस्तेमाल कर या शाखा अथवा एटीएम पर जाकर उसे फिर चालू कर सकते हैं।
- कस्टमर सर्विस फोन नंबर पर कॉल करके भी यह सुविधा चालू कराई जा सकती है।
- नए नियमों के तहत आपको अपने कार्ड पर लिमिट तय कर पाएंगे. ट्रांजेक्शन चाहे देश में हो या विदेश में पॉइंट ऑफ सेल के जरिये हो, ऑनलाइन हो या एटीएम से रकम निकासी हो, आप सभी लिमिट तय कर सकेंगे।